Why is Kejriwal running away when he is not guilty in the liquor scam?
जिस तरह से अरविंद केजरीवाल पूछताछ से भाग रहे हैं, उससे हमें यह मानने का कारण मिलता है कि वह शराब घोटाले के मास्टरमाइंड हैं– वीरेंद्र सचदेवा
राघव चड्ढा, आतिशी और अन्य आप नेताओं का कहना है कि शराब घोटाले का आरोप फर्जी है तो दिल्ली की जनता उनसे जानना चाहती है की तो फिर सिसौदिया, संजय सिंह और अन्य आरोपियों को किसी भी अदालत से जमानत क्यों नहीं मिल रही है — वीरेंद्र सचदेवा
दिल्ली भाजपा अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने कहा है कि यह देखकर आश्चर्य होता है कि दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल प्रवर्तन निदेशालय के सामने पेश होने के बजाय सोशल मीडिया पर बहस छेड़कर और अपनी पार्टी नेताओं से अपना रटाया बयान की शराब घोटाले का आरोप फर्जी है दोहरावा कर जनता की संवेदना पाने की कोशिश कर रहे हैं।
सचदेवा ने कहा है कि पिछले 15 महीनों के दौरान आप नेता लगातार दोहराते रहे हैं कि शराब घोटाले के आरोप और उस पर ईडी और सीबीआई की जांच राजनीति से प्रेरित है, लेकिन यह बताने में असफल रहे कि अगर उनकी शराब नीति में कुछ भी गलत नहीं था तो मनीष सिसोदिया ने इसे वापस क्यों लिया। इसकी सीबीआई जांच के आदेश होते ही शराब नीति वापस क्यों ली।
शराब घोटाले की चार्जशीट पर जेल गए कारोबारियों से लेकर विजय नैय्यर, मनीष सिसौदिया और संजय सिंह जैसे राजनीतिक नेताओं तक, जिन्हें भी गिरफ्तार किया गया है, उन्होंने कहा है कि कोई घोटाला नहीं है और मामला राजनीतिक रूप से पक्षपातपूर्ण है। फिर भी अब हम इस मामले में एक आरोपी को सरकारी गवाह बनते हुए पाते हैं।
दिल्ली भाजपा अध्यक्ष ने कहा है कि दिल्ली की जनता राघव चड्ढा, सुश्री आतिशी और अन्य आप नेताओं से जानना चाहती है कि अगर शराब घोटाले का आरोप फर्जी है तो मनीष सिसौदिया, संजय सिंह, विजय नैय्यर और अन्य आरोपियों को किसी भी अदालत से जमानत क्यों नहीं मिल रही है?
सचदेवा ने कहा है कि हालांकि यह एक खुला मामला है कि मुख्यमंत्री की संलिप्तता के बिना किसी भी राज्य में कोई घोटाला नहीं हो सकता है और जिस तरह से अरविंद केजरीवाल जांच से भाग रहे हैं, उससे हमें यह मानने का कारण मिलता है कि वह शराब घोटाले के मास्टरमाइंड हैं।
सचदेवा ने कहा है की यदि वह निर्दोष हैं तो केजरीवाल को जांच में शामिल होना चाहिए और आश्वस्त रहना चाहिए कि भारतीय संविधान और कानून के तहत किसी को भी गलत तरीके से फंसाया या दोषी नहीं ठहराया जा सकता है।